पूर्ण विराम चिन्ह: प्रयोग और नियम (Purn Viram Chinh)

पूर्ण विराम (Poorn Viram) हिंदी व्याकरण में एक महत्वपूर्ण विराम चिन्ह है। इसका उपयोग वाक्यों को समाप्त करने के लिए किया जाता है।

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Reported by Saloni Uniyal

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हिंदी व्याकरण में हिंदी भाषा लिखते समय कई महत्वपूर्ण चिन्हों का प्रयोग किया जाता है। उनमें से एक पूर्ण विराम चिन्ह भी हैं। जैसा की नाम से ही प्रतीक हो रहा कि पूर्ण होने वाला चिन्ह अर्थात जब कोई वाक्य लिखते समय पूरा या पूर्ण हो जाता हैं तो उस वाक्य के अंत में Purn Viram Chinh लगाया जाता है। हिंदी भाषा में इसे खड़ी पाई भी कहते हैं क्योंकि यह दिखने में (।) होती है। तो आइए जानते है पूर्ण विराम चिन्ह किसे कहते है? एवं प्रयोग और नियम क्या हैं। आर्टिकल से जुड़ी सभी जानकारी को प्राप्त करने के लिए हमारे लेख को विस्तारपूर्वक अंत तक पढ़ें।

Purn Viram Chinh | पूर्ण विराम चिन्ह: प्रयोग और नियम
पूर्ण विराम चिन्ह

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पूर्ण विराम चिन्ह

किसी भी वाक्य के अंत में पूर्ण विराम लगाने का अर्थ है, पूरी तरह रुकना या ठहरना। जब हम कोई वाक्य लिखते है तो वाक्य के पूर्ण होने पर पूर्ण विराम चिन्ह (।) लगाकर यह दर्शाया जाता हैं कि यह वाक्य पूरा हो चुका है और वह पूरा वाक्य अपने आप में स्वतंत्र होता है।

जैसे – मेरा नाम अमन है। वह अच्छी लड़की है। उसके पास बहुत सारी गाड़ी है। तुम मुझे अच्छे लगते हो। मुझे घूमना, पढ़ना अच्छा लगता है आदि।

किसी भी वाक्य के अंत में पूर्ण विराम चिन्ह लगने से वह स्वतंत्र हो जाता है, जिस वजह से उसका एक दूसरे से कोई संबंध नहीं होता हैं। क्या आप जानते हो विराम चिन्ह कितने प्रकार के होते है और उन्हें प्रयोग करने के नियम क्या होते है।

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पूर्ण विराम का प्रयोग और नियम

  • यदि किसी वाक्य के पूर्ण होने पर इस चिन्ह का प्रयोग नही किया जाता है, तो पूरे वाक्य का भाव, अर्थ बदल जाता है।
    • उदाहरण – मुझे कल मंदिर जाना है मैं आज स्कूल नहीं जाऊंगी आज घर पर कोई मेहमान आने वाले है आदि

ऊपर दिए गए उदाहरण में पूरे वाक्य में कहीं भी पूर्ण विराम नही लगा है, जिस वजह से वाक्य का पूर्ण अर्थ समझ नही आ रहा है।

  • जब किसी वाक्य के बीच में और, तथा, अथवा, तो, अर्थात जैसे शब्दों का प्रयोग होता है, तो उनसे पहले कभी भी पूर्ण विराम नहीं लगाया जाता है। किसी भी वाक्य के मध्य में और, तथा, शब्दों, तो, अथवा, अर्थात जैसे शब्दों का प्रयोग होने से यह बताया जाता है कि वाक्य अभी पूर्ण नहीं हुआ है। इसलिए वाक्य पूर्ण होने के अंत में पूर्ण विराम चिन्ह लगाया जाता है।

उदाहरण –

  • ये हमारा पुराना घर है। और घर अब बन रहा है।
  • मैं कल बाजार नही गई। तो क्या हो गया।

उपयुक्त उदाहरण में और, तो से पहले पूर्ण विराम चिन्ह लगाने से पूरे वाक्य का अर्थ स्पष्ट नही हो रहा हैं।

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Purn Viram Chinh से संबंधित सवालों के जवाब FAQs-

पूर्ण विराम चिन्ह किसे कहते हैं?

पूर्ण विराम का मतलब होता है, पूरी तरह रुकना या ठहरना। जब कोई वाक्य पूरा हो जाता है तो उसके अंत में पूर्ण विराम लगने से उसका अर्थ पूरा हो जाता है। इस चिन्ह का प्रयोग विस्मय वाचक और प्रश्नवाचक वाक्यों को छोड़कर सभी जगह किया जाता है।

Purn Viram का चिन्ह कैसा होता हैं?

देवनागरी लिपि में इस चिन्ह के लिए (।) का प्रयोग करते है।

पूर्ण विराम चिन्ह के उदाहरण बताइए?

मैं अब ठीक हूँ। मैं बाजार जा रही हूँ। मुझे एक नया फ़ोन चाहिए। मेरे परिवार में चार सदस्य है। तुम यहां से चले जाओ आदि। सभी वाक्य स्वयं में स्वतंत्र है और उनका एक दूसरे से कोई संबंध नहीं है। जिस वजह से वाक्यों के अंत में पूर्ण विराम चिन्ह का प्रयोग किया गया है।

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परिमाणवाचक विशेषण - Pariman Vachak Visheshan

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